कोलकत्ता(तेज़ समाचार प्रतिनिधि) : भारत में जल्द ही नदी के नीचे भी मेट्रो दौड़ेगी। कोलकाता में 16.6 किलोमीटर लंबे ईस्ट-वेस्ट मेट्रो प्रॉजेक्ट के लिए नदी के नीचे बना यह टनल बहुत अहम है। 520 मीटर लंबे दोहरे टनल को नदी की सतह के 30 मीटर नीचे बनाया गया है।इस तरह का देश में यह पहला प्रॉजेक्ट कोलकाता में पूरा होने जा रहा है। हुगली नदी के नीचे टनल का काम अगले सप्ताह तक पूरा कर लिया जाएगा। इस टनल के जरिए हावड़ा और कोलकाता के बीच मेट्रो कनेक्टिविटी शुरू होगी।
नदी के नीचे टनल बनाने में 60 करोड़ रुपये का खर्च आया, जबकि ईस्ट-वेस्ट मेट्रो प्रॉजेक्ट पर कुल 9,000 करोड़ रुपये का निवेश किया गया है। रेल मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक टनल का काम पिछले साल अप्रैल में शुरू हुआ था और जल्द ही पूरा होने जा रहा है। ईस्ट-वेस्ट मेट्रो अगस्त 2019 में शुरू होना प्रस्तावित है। अधिकारी के मुताबिक इस टनल में आपातकालीन सेवा के लिए वैकल्पिक रास्ता भी बनाया गया है।
हुगली नदी के अलावा मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन रेल कॉरिडोर पर भी समुद्र के नीचे 7 किलोमीटर लंबा सुरंग बनना है।हावड़ा और महाकरन मेट्रो स्टेशन के यात्री 1 मिनट के लिए नदी के नीचे से गुजरेंगे। टनल में मेट्रो की स्पीड 80 किमी प्रति घंटा होगी। इस रूट पर मेट्रो 10.6 किलोमीटर का सफर टनल के जरिए करेगी, जिसमें नदी के नीचे बना 520 मीटर का टनल भी शामिल है।