– 5 प्रवेश परीक्षाएं अब नेशनल टेस्टिंग एजेंसी कराएगी
– नीट में छात्रों के पास दोनों टेस्ट में शामिल होने का मौका
– दोनों के बेस्ट स्कोर के आधार पर एडमिशन
– सभी परीक्षाएं कम्प्यूटर बेस्ड होंगी
– अधिकृत सेंटरों पर प्रैक्टिस कर सकेंगे विद्यार्थी
– जेईई मेन्स नेशनल एजेंसी कराएगी, लेकिन जेईई एडवांस्ड का जिम्मा आईआईटी के पास ही रहेगा
नई दिल्ली (तेज समाचार डेस्क). सरकार ने शनिवार को नीट, जेईई, नेट, सीमैट और जीपैट में बदलाव किए. अब ये चारों परीक्षाएं नेशनल टेस्टिंग एजेंसी कराएगी. अब तक ये सभी परीक्षाएं सीबीएसई कराता था. जेईई और नीट साल में दो बार होंगी. सभी परीक्षाएं कम्प्यूटर बेस्ड होंगी. बदलाव अगले सत्र से लागू होंगे.
– चार से पांच दिनों में खत्म होंगी परीक्षाएं
मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि ये सभी परीक्षाएं चार से पांच दिन में खत्म हो जाएंगी. छात्रों के पास कोई एक तारीख चुनने का विकल्प होगा. सभी परीक्षाएं कम्प्यूटर बेस्ड होंगी. छात्र अगस्त अंत से अधिकृत कम्प्यूटर सेंटर में मुफ्त प्रैक्टिस के लिए जा सकेंगे. अधिकृत सेंटरों की सूची जल्द ही जारी की जाएगी. इन परीक्षाओं के सिलेबस, सवालों के फॉर्मेट, भाषा और फीस में कोई बदलाव नहीं किया गया है.
– ज्वाइंट एंट्रेंस एग्जाम (जेईई)
ज्वाइंट एंट्रेंस एग्जाम (जेईई) मेन्स आईआईटी और एनआईटी में एडमिशन के लिए होती है. जेईई में इस साल 1.55 लाख छात्र शामिल हुए. 31,980 छात्रों ने क्वालिफाई किया.
पहले जेईई मेन्स परीक्षा साल में एक बार होती थी. सीबीएसई यह एग्जाम कराता था. लेकिन अब अगले सत्र से जेईई मेन्स साल में दो बार यानी जनवरी और अप्रैल में होगी. लेकिन जेईई एडवांस्ड का जिम्मा आईआईटी के पास ही रहेगा. छात्र मार्च में होने वाली 12वीं की परीक्षा पर ज्यादा फोकस कर पाएंगे.
नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (NEET)
नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (नीट) देशभर के मेडिकल और डेंटल कॉलेजों में एडमिशन के लिए होता है. नीट में इस साल 12.67 लाख छात्र शामिल हुए. 7.12 लाख ने क्वालिफाई किया.
पहले यह टेस्ट भी साल में एक बार होता था. सीबीएसई इसे कराता था. लेकिन अब अगले सत्र से यह परीक्षा साल में दो बार फरवरी और मई में होगी. छात्रों के पास दोनों टेस्ट में शामिल होने का मौका रहेगा. दोनों परीक्षाओं के बेस्ट स्कोर के आधार पर एडमिशन मिलेगा.
– नेशनल एलिजिबिलिटी टेस्ट (नेट)
नेशनल एलिजिबिलिटी टेस्ट (नेट)हायर एजुकेशन वाले संस्थानों में टीचिंग के लिए क्वालिफाई करने के मकसद से होता है. इसके जरिए असिस्टेंट प्रोफेसर और जूनियर रिसर्च फैलोशिप (जेआरएफ) के लिए चयन होता है.
पहले यूजीसी की तरफ से सीबीएसई ही नेट कराता था. यह टेस्ट में साल में दो बार जुलाई और दिसंबर में होता था. लेकिन अब नेट साल में एक ही बार दिसंबर में होगा.
– सीमैट और जीपैट
जावड़ेकर ने बताया कि कॉमन मैनेजमेंट एडमिशन टेस्ट (सीमैट) और ग्रेजुएट फार्मेसी एप्टिट्यूड टेस्ट (जीपैट) भी अब नेशनल टेस्टिंग एजेंसी कराएगी. जावड़ेकर ने भरोसा दिलाया कि परीक्षाओं का कम्प्यूटर आधारित फॉर्मेट होने से नकल पर रोक लगेगी. पेपर लीक की आशंका भी खत्म हो जाएगी. एसएससी परीक्षा में स्क्रीन शेयरिंग से पेपर लीक होने वाले सवाल का जवाब देते हुए जावड़ेकर ने किहा कि नेशनल टेस्टिंग एजेंसी के मॉड्यूल में ऐसा नहीं हो सकेगा.