कोल्हापुर ( तेजसमाचार प्रतिनिधि ) – जाति प्रमाण पत्र समय पर पेश नहीं करने को लेकर सुप्रीम कोर्ट द्वारा गुरूवार को बड़ी कारवाई करते हुए कोल्हापुर के 20 नगरसेवक के पद को रद्द कर दिया गया. सुप्रीम कोर्ट द्वारा की गई इस कार्रवाई में सभी दलों के पार्षदों का समावेश है.
कोल्हापुर महानगर पालिका के चुनाव एक नवम्बर 2015 को हुए थे. कारवाही के अंतर्गत अश्विनी रामाणे, स्वाती येवलुजे, हसीना फरास इन तीन पूर्व महापौर का समावेश है. सुप्रीम कोर्ट की कारवाही में राष्ट्रवादी काँग्रेस के बारह,काँग्रेस के आठ कुल 20 नगरसेवक के पद को रद्द कर दिया गया है. विदित ही कि चुनाव के बाद 6 महीने के अंदर सभी नगरसेवक को जाति प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना था. लेकिन इन 20 नगरसेवकों द्वारा जाति प्रमाण पत्र पेश नहीं किया. मात्र 13 पार्षदों ने ही जाति प्रमाणपत्र प्रस्तुत किये थे. जिसके बाद ही सुप्रीम कोर्ट द्वारा कारवाई की गई. गौरतलब है कि कोल्हापुर महानगर पालिका में बीजेपी के 13, ताराराणी के 19, कांग्रेस के 27, राष्ट्रवादी कांग्रेस के 15, शिवसेना के 4 और अन्य 2 सदस्य है. जिनमे राष्ट्रवादी के चार, भाजपा के पाच, ताराराणी आघाडी के तीन और शिवसेने के एक पार्षद पर कारवाही हुई है.
इन पार्षदों पर गिरी गाज-
संदीप नेजदार, दीपा मगदूम, स्वाती येवलूजे, हसीना फरास, अश्विनी रामाणे, किरण शिराले, सचिन पाटील, विजय खाडे पाटील, नियाज खान, मनीषा कुंभार, अश्विनी बारामते, संतोष गायकवाड, शमा मुल्ला, सविता घोरपडे, वृषाली कदम, रीना कांबले, गीता गुरव, कमलाकर भोपले, अफझल पिरजादे.

