मुंबई (तेज समाचार डेस्क). लगता है 2020 वर्ष पूरी तरह से प्राकृतिक आपदा का वर्ष गुजरनेवाला है. वर्तमान में पूरा विश्व कोरोना महामारी के संक्रमण से परेशान है, तो भारत के अनेक शहर बारिश और बाढ़ से परेशान है. ऐसे में देश के कई हिस्सों में भूकंप का भी प्रकोप महसूस किया जा रहा है, जिससे लोगों में दहशत है. शनिवार सुबह करीब 6.36 बजे मुंबई में भूकंप के झटके महसूस किए गए। इसकी तीव्रता रिक्टर स्केल पर 2.7 मापी गई। अभी तक जान-माल के नुकसान की सूचना नहीं है। मुंबई में धरती कांपने के बाद कई लोग घरों से बाहर निकल आए।
– नाशिक में 4 आंकी गई भूकंप की तीव्रता
इससे पहले शुक्रवार देर रात 11.41 बजे महाराष्ट्र के नासिक में भूकंप का पहला झटका महसूस किया गया। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 4 आंकी गई। इसके कुछ देर बाद 5 सितंबर को रात 12.05 पर 3.6 तीव्रता का भूकंप आया। यहां भी किसी तरह के नुकसान की जानकारी सामने नहीं आई है। नेशनल सेंटर फॉर सिस्मोलॉजी ने ट्वीट कर इसकी जानकारी दी
– कई महीनों से पालघर में आ रहे भूकंप के झटके
पिछले कई महीनों से महाराष्ट्र के पालघर में भूकंप के हल्के झटके महसूस किए जा रहे हैं, जिसकी तीव्रता 2 से 3.5 के बीच मापी गई है। हालांकि, उस भूकंप में भी किसी के हताहत होने या कोई नुकसान की खबर नहीं थी।
भारतीय उपमहाद्वीप के भूकंप जोन
भारत को भूकंप के क्षेत्र के आधार पर जोन-2, जोन-3, जोन-4 और जोन-5 में बांटा गया है। जोन-2 सबसे कम खतरे वाला और जोन-5 सबसे ज्यादा खतरे वाला जोन माना जाता है। जोन-5 में कश्मीर, पश्चिमी और मध्य हिमालय, उत्तर और मध्य बिहार, उत्तर-पूर्व भारतीय क्षेत्र, कच्छ का रण और अंडमान और निकोबार द्वीप समूह आते हैं। मध्य भारत कम खतरे वाले जोन-3 में आता है। जबकि, दक्षिण के ज्यादातर हिस्से सीमित खतरे वाले जोन-2 में आते हैं। वहीं, जोन-4 में जम्मू और कश्मीर, लद्दाख, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, सिक्किम, उत्तर बंगाल, दिल्ली, महाराष्ट्र शामिल हैं।