भोपाल (तेज समाचार डेस्क). मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल की एक अदालत ने अवधपुरी स्थित कवर्ड कैंपस नर्मदा वैली कॉलोनी में 73 वर्षीय रिटायर्ड एयरफोर्स अफसर जीके नायर और उनकी पत्नी गोमती की हत्या के मामले में गिरफ्तार उनके ही नौकर राजू को दोहरी उम्र कैद की सजा सुनाई है. मंगलवार को न्यायाधीश सीएम उपाध्याय ने राजू को नायर दंपति की हत्या का दोषी मानते हुए हत्यारे की अंतिम सांस तक जेल में ही रखने की सजा सुनाई. अदालत में जिस समय सजा का ऐलान किया गया उस समय नायर दंपत्ति के परिजन और रिश्तेदार अदालत में मौजूद थे.
– क्या है पूरा मामला?
घटना 8 मार्च 2018 की है. मकान नंबर 13, नर्मदा वैली, अवधपुरी में रहने वाले नायर दंपत्ति की लूट के बाद चाकू मारकर हत्या कर दी थी. घटना के एक दिन बाद यानी 9 मार्च को पुलिस को घटना की सूचना मिली थी. नायर दंपत्ति के घर में काम करने वाली बाई जब सुबह घर पहुंची तो बार बार दरवाजा खटखटाने के बाद भी कोई जबाव नहीं मिला और नायर दंपत्ति के फोन पर भी घंटी बजाने के बाद भी कोई फोन नहीं उठा रहा था. पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज कर जांच शुरू की, तो शक पुराने नौकर राजू पर गया. इसके बाद पुलिस ने राजू को भोपाल से ही गिरफ्तार कर पूछताछ की तो उसने अपना गुनाह कबूल लिया था.
– पैसों के लेनदेन को लेकर राजू को नौकरी से निकाला था
पुलिस पूछताछ में राजू ने बताया था कि वह नायर दंपत्ति के यहां काम करता था. करीब 7 महीने पहले रुपयों के लेनदेन को लेकर उन्होंने उसे नौकरी से निकाल दिया था. कई दिनों तक काम न मिलने से परेशान राजू काम मांगने के लिए फिर ये नायर दंपति के घर पहुंचा था, लेकिन उन्होंने उसे घर से भगा दिया था. यह बात राजू को नागवार गुजरी और उसने उन्हें सबक सिखाने का मन बना लिया. घटना की रात 10 बजे के राजू चाकू लेकर नायर दंपति के घर पहुंचा और नायर दंपत्ति से काम मांगा, जब उन्होंने उसे जाने को कहा तो उसने दोनों का गला रेत दिया और वहां से भाग गया.
– हत्या के दूसरे दिन हुआ घटना का खुलासा
घटना के अगले दिन सुबह करीब 8 बजे नायर के घर काम करने वाली मोहनबाई घर पहुंची. पोर्च के गेट का ताला अंदर से लगा था. इस पर मोहनबाई ने आवाज लगाई, लेकिन जवाब नहीं मिला. यह सुनकर पड़ौसी अपने बंगले से नायर की पहली मंजिल की गैलरी में पहुंचे. उन्होंने दरवाजे पर धक्का दिया तो यह खुल गया. अंदर बुजुर्ग दंपती खून से लथपथ पड़े थे. दोनों शव फर्स्ट फ्लोर में बेडरूम के दरवाजे पर आमने-सामने पड़े मिले. घर का सामान अस्त-व्यस्त नहीं था, इसलिए मामला चोरी या लूट का नहीं लग रहा था.
– ऐसे हुआ राजू पर पुलिस को शक
राजू ने नायर से रुपए लिए थे. उनके नाम पर कई लोगों से उधार लिया था. वह घर में कभी भी आ सकता था. उसे नायर दंपत्ति के घर और वहां आने जाने वालों की पूरी जानकारी थी. हर दरवाजा अंदर से बंद था. सिर्फ पहली मंजिल की गैलरी का खुला था. यह तभी संभव है, जब कोई पहले से अंदर मौजूद रहा हो. नायर के रिश्तेदार ने सुबह फोन पर हत्या की जानकारी दी. राजू ने इस बात की जानकारी लगने के बाद कहा कि वह ग्वालियर में है और इसके बाद उसने फोन बंद कर लिया. राजू की पत्नी को बचपन से नायर दंपत्ति ने पाला था. राजू की पत्नी आरती को नायर दंपती ने तब से पाला है जब वह 8 साल की थी. राजू ने अपनी बहन की शादी के लिए नायर से डेढ़ लाख रुपए उधार लिए थे. आरती का पति होने के कारण वह नायर के घर कभी भी आता-जाता था.