गोयांग (तेज समाचार डेस्का). उत्तर कोरियाई नेता किम जोंग-उन और दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून जेई-इन ने प्रायद्वीप देशों को बांटने वाली सीमा रेखा पर आज मुलाकात कर ‘एक नए कल की ओर कदम बढ़ाया.’ किम ने दक्षिण कोरिया की जमीन पर कदम रखते हुए कहा, वह ‘बहुत भावुक’ हो रहे हैं. दोनों ने इस समय परमाणु निरस्त्रीकरण और कोरियाई प्रायद्वीप में स्थायी शांति पर जोर देते हुए सकारात्मक चर्चा की. दूसरी ओर विशेष बात यह रही कि उत्तर कोरिया के सरकार चैनल पर यह खबर पूरी तरह से हटा दी गई. इससे अंतरराष्ट्रीय संबंधों के विशेषज्ञ यह राय बना रहे हैं कि उत्तर कोरिया अभी भी दुनिया से अपने संबंधों को सकारात्मक बनाने की दिशा में पूरी तरह से सकारात्मक नहीं है. विशेषज्ञों का यह भी मानना है कि हो सकता है कि दोस्ती की आड़ में किम जोंग किसी षडयंत्र की रचना कर रहे हो ओर वे इस दोस्ती की आड में अपनी परमाणू युद्ध की तैयारियों के लिए कुछ समय व्यतीत कर रहे हो.
– कोरिया युद्ध के 65 वर्ष बाद बढ़े दोस्ती की ओर कदम
कोरिया युद्ध के करीब 65 वर्ष बाद दक्षिण कोरिया की भूमि पर कदम रखने वाले किम पहले उत्तर कोरियाई शासक हैं. शिखर सम्मेलन के लिए पनमुंजम के युद्धविराम संधि के अधीन आने वाले गांव के दक्षिणी किनारे पर स्थित ‘पीस हाउस बिल्डिंग ’ में दाखिल होने से पहले किम के आमंत्रण पर दोनों नेता एक साथ उत्तर कोरिया में दाखिल हुए.
– सकारात्मक रही दोनों के बीच चर्चा
किम ने बैठक की शुरुआत होने के बाद मून से कहा , ‘मैं यहां एक नए इतिहास का प्रारंभिक संदेश देने के दृढ़ संकल्प के साथ आया हूं.’ उत्तर कोरिया का परमाणु कार्यक्रम दोनों नेताओं की बैठक का मुख्य एजेंडा है. मून ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि वे ‘एक ऐसा समझौता कर पाएंगे जो कोरिया की जनता और शांति चाहने वाले सभी लोगों के लिए एक बड़ा तोहफा होगा.’
किम के साथ उनकी बहन एवं सलाहकार किम यो जोंग और अंतर-कोरियाई संबंधों के उत्तर कोरिया के प्रमुख और मून के साथ उनके खुफिया प्रमुख तथा चीफ ऑफ स्टाफ मौजूद रहे. उत्तर कोरिया की आधिकारिक सामाचार एजेंसी ‘ केसीएनए ’ ने कहा कि किम ‘अंतर कोरियाई संबंधों को सुधारने और कोरियाई प्रायद्वीप में शांति, समृद्धि और एकीकरण स्थापित करने के लिए हर मुद्दे पर खुले दिल से बातचीत करेंगे.’ लेकिन परमाणु निरस्त्रीकरण का कोई जिक्र नहीं किया. वहीं जब दोनों कोरियाई नेताओं के हाथ मिलाने की तस्वीरें विश्वभर में छायी हुई थी तब उत्तर कोरिया के सरकारी चैनल से यह खबर नदारद रही.
– परमाणु परीक्षण के बाद ट्रंप से वाकयुद्ध
पिछले साल प्योंगयांग ने छह परमाणु परीक्षण किए थे. इसके बाद किम और ट्रंप के बीच वाकयुद्ध भी शुरू हो गया था. किम और ट्रंप के बीच यह विवाद दक्षिण कोरिया में हुए शीतकालीन ओलंपिक के बाद उस समय थमा , जब मून ने उत्तर कोरिया की ओर से वार्ता का निमंत्रण अमेरिका तक पहुंचाया.
– बिना शर्त सुरक्षा की गारंटी की मांग
सुबह बातचीत के बाद मून के प्रवक्ता योन योंग-चान ने कहा कि दोनों नेताओं के बीच ‘परमाणु निरस्त्रीकरण और कोरियाई प्रायद्वीप में स्थायी शांति स्थापित करने के मुद्दे पर वार्ता हुई.’ प्योंगयांग अपने हथियारों पर चर्चा करने के लिए बिना शर्त सुरक्षा गारंटी की मांग कर रहा है.
– दोनों ने असैन्यकृत सीमा पर वृक्षारोपण किया
दोनों नेताओं के बीच एक घंटे 40 मिनट तक हुई बैठक के बाद किम ने सीमा पार कर उत्तर कोरिया में दोपहर का भोजन किया. इस दौरान भारी संख्या में सुरक्षा बल उनकी लिमोजिन के साथ दौड़ते दिखे. दोपहर की बातचीत से पहले मून और किम ने असैन्यकृत सीमा पर वृक्षारोपण किया. दोनों नेता समझौते पर हस्ताक्षर करने के बाद एक संयुक्त बयान जारी करेंगे.