धुलिया (तेज़ समाचार के लिए वाहिद ककर ):शिक्षा का व्यापारीकरण समान काम-समान वेतन समेत अपनी विभिन्न मांगों को लेकर शिक्षकों विभिन्न संगठनों ने मंगलवार को गांधी प्रतिमा से जुलूस निकाला। अखिल भारतीय समाजवादी अध्यापक सभा शिक्षक लोकशाही आघाडी आदि शिक्षक संघ के बैनर तले विभिन्न प्रखंडों से पहुंचे शिक्षक एकजुट हुए। इन शिक्षकों ने नारेबाजी करते हुए जुलूस निकाला। जुलूस के कलेक्ट्रेट में पहुंचने पर शिक्षकों ने यहां भी प्रदर्शन किया। शिक्षकों के प्रतिनिधिमंडल ने ज़िला अधिकारीसे वार्ता की अपनी इक्कीस सूत्रीय मांगों का ज्ञापन ज़िलाधिकारी दिलीप पांढरपट्टे को सौपा जिस में उन्होंने शिक्षकों की राज्यस्तरीय मांगों को आगे भेजने का आश्वासन दिया।
मोर्चा में उपस्थित शिक्षकों के हाथों मे विभिन्न प्रकार के श्लोगन लिखे हुए तख्तियां लिए हुए शिक्षकों ने राज्य सरकार की गलत शिक्षा नीति के खिलाफ जमकर नारेबाजी करते हुए चल रहे थे।
शिक्षक संघ ने सौपे ज्ञापन में बताया है कि राज्य में पिछले कई सालों से शिक्षा व्यवस्था में अनेक प्रकार की समस्या पैदा हुई है जिस का निराकरण नही किया गया है भजपा शासन काल में शिक्षा नीतियों को और भी जटिल बनाया गया है ।शिक्षा का बाजारीकरण नही थमा तो देश के दुर्बल घटक वर्गीय परिवार शिक्षा से वंचित हो जायेगा सभी को अनिवार्य मुफ्त शिक्षा मिलनी चाहिए लेकिन कुछ
स्थानों पर छात्राओं की कम संख्या बता कर स्कूल बंद किया जा रहा है ।महाराष्ट् राज्य सरकार की शिक्षा नीति गरीब लोगों के शिक्षा के अधिकारों को समाप्त करने वाली हैं हर किसी को बिना मूल्य शिक्षा और अन्य मांगों का ज्ञापन शिक्षा संगठन डिटीएफ आदि शिक्षकों के संगठन ने सौपा है ।