पुणे (तेज समाचार डेस्क). कोरोना के खिलाफ कोविशील्ड नाम के टीके का उत्पादन कर रही पुणे स्थित सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एसआइआइ) ने अपने मंजरी प्लांट में आग लगने से हुए नुकसान के बारे में बताया. साथ ही देश को भरोसा दिया कि वह कोरोना के खिलाफ जारी लड़ाई को किसी भी सूरत में कमजोर नहीं पड़ने देगी.
– बीजीसी और रोटा के उत्पादन पर असर
सीरम इंस्टीट्यूट के सीईओ अदार पूनावाला ने कहा कि अग्निकांड की घटना से COVID-19 टीकों की आपूर्ति प्रभावित नहीं होगी. हालांकि एक अन्य रिपोर्ट के मुताबिक, इस हादसे के चलते भविष्य में बीसीजी और रोटा वैक्सीन के उत्पादन पर थोड़ा असर जरूर पड़ेगा.
– घटनास्थल पर नहीं बनाया जा रहा था टीका
समाचार एजेंसी एएनआइ की रिपोर्ट के मुताबिक, सीरम इंस्टीट्यूट के सीईओ अदार पूनावाला ने कहा कि इस अग्निकांड के चलते कोविड वैक्सीन की आपूर्ति प्रभावित नहीं होगी. कंपनी के मंजरी प्लांट में जिस जगह आग लगी वहां कोई वास्तविक टीका नहीं बनाया जा रहा था.
– अग्निकांड में 1000 करोड़ का नुकसान
पूनावाला ने कहा कि हम भाग्यशाली थे कि घटना एक अलग इमारत में हुई. हालांकि इस अग्निकांड के चलते कंपनी को लगभग 1,000 करोड़ रुपये से अधिक का नुकसान हुआ है. उन्होंने यह भी कहा कि इस अग्निकांड का कोविशिल्ड वैक्सीन के उत्पादन पर कोई असर नहीं हुआ है… ना ही मौजूदा स्टॉक को किसी प्रकार का कोई नुकसान हुआ है.